ऑस्ट्रेलियाई सरकार द्वारा ये बयान दिया जाना की भारत जाने वालें उनके राजनयिकों को वहां की भाषा (हिंदी) सीखने की जरुरत नहीं है, हम सबका, हिंदी का और समूचे भारत का अपमान है | उनका ये मानना है भारत में सारे काम-काज अंग्रेजी में ही होते हैं और भारत एक अंग्रेजी लोकतंत्र है | अन्य कोई भी देश जैसे चीन, रूस, जर्मनी, फ्रांस आदि जाने वाले राजनयिकों को वहां की भाषा सीखना अनिवार्य है पर भारत जाने वालों का काम अंग्रेजी से ही चल जायेगा | भले ही यह कहकर उन्होंने हमारा अपमान किया हो पर उनकी बातें सच ही तो है | एक तरह से ये हमारे और हमारी सरकार के लिए बहुत ही शर्म की बात है और चेहरे पे जूता पड़ने जैसा है | हम और हमारी सरकार जब स्वयं अपनी भाषा की इज्ज़त नहीं कर पाते तो कोई और क्या करेगा ?
जरुरत नहीं हिंदी सीखने की??
Posted on Tuesday, June 19, 2012 by Unknown in
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3 comments:
एक शर्मनाक बात
अफ़सोस की बात है.
आपने ठीक ध्यान दिलाया.
See-
http://mhare-anubhav.blogspot.in/2012/06/blog-post_18.html
हम और हमारी सरकार जब स्वयं अपनी भाषा की इज्ज़त नहीं कर पाते तो कोई और क्या करेगा ?
RECENT POST ,,,,,पर याद छोड़ जायेगें,,,,,
RECENT POST ,,,,फुहार....: न जाने क्यों,
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