पेशे और देश से ग़ददारी है डाक्टर का विदेश भाग जाना

Posted on
  • Tuesday, April 24, 2012
  • by
  • Ayaz ahmad
  • in
  • Labels:


  • जबकि अपने देश में लोग इलाज की कमी से मर रहे हों.
    देश में 7 लाख डाक्टरों की कमी है. लोग मर रहे हैं मगर डाक्टर विदेश में चले जाते हैं. एक एमबीबीएस डाक्टर की पढ़ाई में एम्स में 1.50 करोड़ रूपये का ख़र्च आता है. सरकार फ़ीस की शक्ल में सिर्फ़ 1 लाख रूपया ही वसूलती है.
    12 से 15 हज़ार डाक्टर स्टडी लीव लेकर अमरीका वग़ैरह में मुनाफ़ा कमा रहे हैं. इनसे भी ज़्यादा वे डाक्टर हैं जो सरकारी नौकरी में जाए बिना सीधे ही विदेश निकल लेते हैं.
    इनमें से कुछ तो विदेश में बैठकर राष्ट्रवाद की डींगें भी मारते हैं मगर अपनी सेवाएं देने के लिए अपने ही देस वापस नहीं आते. राष्ट्र बीमार हो तो हो, भारत माता की संतानें रोगी हों तो हों उन्हें कोई परवाह नहीं है. उन्हें तो बस नफ़रतें फैलानी हैं और माल कमाना है.
    उनकी तरफ़ से देस के लोग मरें या चाहे सिसक सिसक कर जिएं.
    मज़ेदार यह है कि ऐसे विदेशियों की सेवा करने वाले ये लालची डाक्टर देस में रहकर सेवा करने वाले डाक्टरों को गालियां देने से भी नहीं चूकते.
    काश ! ये लोग अपने दिल से लालच निकाल पाते और अपने देस लौटकर अपनी सेवाएं देते.

    केंद्रीय स्वास्थ मंत्री ग़ुलाम नबी आज़ाद ने इस सिलसिले में कड़ा रूख़ अपनाया है.
    उनके मौक़िफ़ की हम ताईद करते हैं.

    अब माल के लालच में देश से भागे हुए डाक्टर हिंदुस्तानी समाज में ज़िल्लत की नज़रों से देखे जाएंगे और शायद वे ख़ुद भी अपनी नज़रों से गिर जाएं।
    शायद यही अहसासे ज़िल्लत उन्हें अपनी वतन वापसी पर आमादा कर सके ?

    ग़ुलाम नबी आज़ाद का बयान और अख़बारी रिपोर्ट यहां है-

    बाहर की डॉक्टरी तो गई डिग्री
    नई दिल्ली, विशेष संवाददाता


    स्टडी लीव लेकर विदेश जाने और वापस न आने वाले डॉक्टरों को अब अपने पेशे से हाथ धोना पड़ सकता है। केंद्र सरकार ऐसे डॉक्टरों की वापसी सुनिश्चित कराने के लिए कड़ा कदम उठाने जा रही है।
    स्टडी लीव की अवधि खत्म होने के बाद डॉक्टर वापस नहीं आते हैं तो उनका रजिस्ट्रेशन निलंबित या रद्द कर दिया जाएगा। इससे वे विदेश में भी डॉक्टरी नहीं कर पाएंगे। पिछले तीन वर्षों में करीब तीन हजार डॉक्टर स्टडी के लिए विदेश गए, लेकिन ज्यादातर वापस नहीं लौटे।
    केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री गुलाम नबी आजाद ने बताया कि अब कोई डॉक्टर स्टडी लीव पर विदेश जाना चाहेगा तो उसे एक बॉन्ड भरकर देना होगा। इसमें यह वादा करना होगा कि निर्धारित अवधि के बाद वह स्वदेश लौट आएगा। यदि रजिस्ट्रेशन निलंबित या रद्द हो जाए तो संबंधित डॉक्टर देश में प्रैक्टिस नहीं कर सकता। साथ ही उसे विदेश में भी प्रैक्टिस से रोका जा सकता है। देश के सरकारी अस्पतालों में सबसे बड़ी दिक्कत यह है कि उनमें कार्यरत डॉक्टर उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए स्टडी लीव पर विदेश चले जाते हैं और फिर वहीं बस जाते हैं।
    लंबे समय तक वे इस्तीफा भी नहीं देते, जिस कारण रिक्त पद पर नियुक्ति नहीं हो पाती है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में विदेश जाने वाले डॉक्टरों से बॉन्ड भराने की व्यवस्था थी, लेकिन वैश्वीकरण के बढ़ते प्रभाव में राजग सरकार के कार्यकाल में इसे खत्म कर दिया गया था।
    सरकार की मजबूरी 
    चिकित्सा क्षेत्र में हो रही प्रगति के मद्देनजर डॉक्टरों को स्टडी लीव लेने से नहीं रोका जा सकता है। पिछले पांच वर्षों के दौरान एम्स से करीब तीन दर्जन डॉक्टर स्टडी लीव लेकर विदेश गए, लेकिन लौटे नहीं। ऐसे ही राममनोहर लोहिया, एलएनजेपी, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज समेत तमाम अस्पतालों के कई मनोचिकित्सक ब्रिटेन गए, लेकिन वापस कम ही आए।

    1 comments:

    virendra sharma said...

    सिस्टम के लूप होल्स का फायदा उठाके भागते रहें हैं ये तमाम भगोड़े .सोचा बहुत गया हुआ भुत अधिक नहीं .डिग्री को आवश्यक ग्रामीण क्षेत्र के प्रेक्टिस की अवधि से जोड़ने की बात भी अभी सिरे नहीं चढ़ी है .सुधार ज़रूरी हैं .ये ब्रेन दरें नहीं ब्रेन लोस है .

    कृपया यहाँ भी पधारें -
    रविवार, 22 अप्रैल 2012
    कोणार्क सम्पूर्ण चिकित्सा तंत्र -- भाग तीन
    कोणार्क सम्पूर्ण चिकित्सा तंत्र -- भाग तीन
    डॉ. दाराल और शेखर जी के बीच का संवाद बड़ा ही रोचक बन पड़ा है, अतः मुझे यही उचित लगा कि इस संवाद श्रंखला को भाग --तीन के रूप में " ज्यों की त्यों धरी दीन्हीं चदरिया " वाले अंदाज़ में प्रस्तुत कर दू जिससे अन्य गुणी जन भी लाभान्वित हो सकेंगे |
    वीरेंद्र शर्मा

    ~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~(वीरुभाई

    )

    http://www.blogger.com/blogger.g?blogID=3256129195197204259#allposts


    कितनी थी हरजाई पूनो -
    http://kabirakhadabazarmein.blogspot.in/

    Read Qur'an in Hindi

    Read Qur'an in Hindi
    Translation

    Followers

    Wievers

    join india

    गर्मियों की छुट्टियां

    अनवर भाई आपकी गर्मियों की छुट्टियों की दास्तान पढ़ कर हमें आपकी किस्मत से रश्क हो रहा है...ऐसे बचपन का सपना तो हर बच्चा देखता है लेकिन उसके सच होने का नसीब आप जैसे किसी किसी को ही होता है...बहुत दिलचस्प वाकये बयां किये हैं आपने...मजा आ गया. - नीरज गोस्वामी

    Check Page Rank of your blog

    This page rank checking tool is powered by Page Rank Checker service

    Promote Your Blog

    Hindu Rituals and Practices

    Technical Help

    • - कहीं भी अपनी भाषा में टंकण (Typing) करें - Google Input Toolsप्रयोगकर्ता को मात्र अंग्रेजी वर्णों में लिखना है जिसप्रकार से वह शब्द बोला जाता है और गूगल इन...
      12 years ago

    हिन्दी लिखने के लिए

    Transliteration by Microsoft

    Host

    Host
    Prerna Argal, Host : Bloggers' Meet Weekly, प्रत्येक सोमवार
    Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...

    Popular Posts Weekly

    Popular Posts

    हिंदी ब्लॉगिंग गाइड Hindi Blogging Guide

    हिंदी ब्लॉगिंग गाइड Hindi Blogging Guide
    नए ब्लॉगर मैदान में आएंगे तो हिंदी ब्लॉगिंग को एक नई ऊर्जा मिलेगी।
    Powered by Blogger.
     
    Copyright (c) 2010 प्यारी माँ. All rights reserved.